लातेहार
सरकार और सिस्टम के रवैए से किसान मायूस


बरवाडीह ( लातेहार)। बरवाडीह प्रखंड के मायूस किसानों को महीनों बाद भी धान अधिप्राप्ति की राशि का भुगतान नहीं होना सरकार की कथनी और करनी को दर्शाता है. सरकार और सिस्टम किसानों से उनके धान खरीदारी को लेकर बड़े पैमाने पर प्रचार प्रसार करने और किसानों कुछ पैसे का अधिक भुगतान करने का लालच देती है पर मामला किसानों के साथ उल्टा पड़ गया है,
भुगतान में देरी होने से किसानों में मायूसी छा गई है. किसानों को कोई फायदा नहीं मिल रहा है. वह इसलिए कि किसान अगर सही समय पर बाजार भाव से बेचता तो उसे फायदा ही पहुंचता समय से उनके गाढ़ी कमाई के पैसे नकद मिल जाते. सरकारी दर पर धान बेचने का मतलब पूरी तरह धान को सुखाकर बेचना और भुगतान के लिए महीनों इंतजार करना ऐसे में किसान ठगा महसूस कर रहा है.
बताया जा रहा है कि सिस्टम के लापरवाही से भुगतान में देरी हुई है इसलिए कि जिन किसानों को उनके सम्पूर्ण भुगतान किए गए थे उनके खाते में पुनः भुगतान कर दिए गए, हालांकि उनके बैंक खाता को होल्ड कर राशि की रिकवरी कर ली गई है. बता दें कि प्रखंड अंतर्गत आने वाले तीनों लैंपसों में धान अधिप्राप्ति का लक्ष्य लगभग पच्चीस सौ क्विंटल था.
जो कि लक्ष्य से आधा भी धान की खरीद नहीं हो सका बावजूद इसके कई किसानों का भुगतान लंबित है. जिससे छोटे किसानों का मनोबल गिर गया और वे परेशान हैं. ऐसे में नाखुश किसान जिले के उपायुक्त उत्कर्ष गुप्ता से जल्द भुगतान कराने की गुहार लगाई है.